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दो घंटे में छुट्‌टी तो कहीं एक महीने से याद करवा रहे विज्ञान के चमत्कार का निबंध

अभी तक अतिथि शिक्षकों काे रखने के लिए किसी तरह के कोई आदेश नहीं आए हैं। हमें जानकारी मिली है कि जल्द भर्ती प्रक्रिया शुरू होने वाली है। लेकिन यह ऑनलाइन होगी। सरकार के निर्देश होंगे तो ही पढ़ाई के लिए कोई वैकल्पिक व्यवस्था करवा पाएंगे। जेके शर्मा, जिला शिक्षा अधिकारी धार


अतिथि शिक्षकों की ऑनलाइन भर्ती ऑनलाइन होगी। इसकी प्रक्रिया जल्द शुरू होनी है। जहां शिक्षक नहीं है, वहां अभी संकुल प्राचार्य अपने स्तर से जो हो रहा है, वह व्यवस्थाएं कर रहे हैं। पुराने अतिथि शिक्षक को रख लेते हैं और फंड नहीं आता है तो उन्हें वेतन कैसे देंगे। ब्रजेश पांडेय, सहायक आयुक्त आदिवासी विकास विभाग

बालक उमावि केसूर के कक्षा 11वीं के विद्यार्थियों ने बताया रसायन को तो अब तक हमने खोल कर देखा तक नहीं है। अब तक कोई भी शिक्षक इस विषय को पढ़ाने नहीं आए। जीव विज्ञान, इतिहास, राजनीतिशास्त्र के शिक्षक भी नहीं हैं। कंडारिया व खिलेड़ी की मा. शाला में तो एक भी शिक्षक स्कूल में नहीं है। 6 से 8 तक की क्लास को पढ़ाने के लिए एक एक शिक्षक की व्यवस्था अन्य स्कूल से की गई है। ग्राम बग्गड़ में एकमात्र शिक्षक ही स्कूल में पढ़ाई करवा रहे हैं।

धेगदा : 5 शिक्षकों के भरोसे 360 बच्चे, अंग्रेजी व भौतिक पढ़ाने वाला कोई नहीं - हायर सेकंडरी स्कूल में 360 विद्यार्थी हैं। इन्हें पढ़ाने वाले महज 5 शिक्षक हैं। अंग्रेजी व भौतिकी विषय पढ़ाने वाला कोई नहीं है। अतिथि शिक्षक पिछले साल तक इन विषयों को पढ़ाते थे, इस बार पढ़ाई शुरू नहीं हो पाई।

केसूर : बच्चे बोलें : हमने तो अब तक रसायन विज्ञान को खोल कर देख तक नहीं देखा

यहां हायर सेकंडरी स्कूल में कुल 308 विद्यार्थी हैं। विज्ञान संकाय के बच्चों ने बताया हिंदी-अंग्रेजी के अलावा केवल जीव विज्ञान की पढ़ाई हो रही है। भौतिकी और रसायनशास्त्र नहीं पढ़ाया जा रहा। कॉमर्स संकाय के विद्यार्थियों ने बताया वाणिज्य और अर्थशास्त्र की पढ़ाई हो रही है। अकाउंट नहीं पढ़ाया जा रहा। अभी तक इन विषयों की पढ़ाई की शुरुआत ही नहीं हुई है।

गुजरी में दो से तीन पीरियड ही लग रहे हैं। भारुड़पुरा स्कूल एक ही शिक्षक के भरोसे चल रहा है। तारापुर के कन्या शिक्षा परिसर में 105 छात्राओं पर एक ही शिक्षक है।

बिड़वाल : भौतिकी व रसायन तथा कॉमर्स में अकाउंट की पढ़ाई नहीं

यहां हाईस्कूल में एक भी शिक्षक पदस्थ नहीं है। माध्यमिक के स्टाफ को जिम्मेदारी दे रखी है। बुधवार को एक शिक्षक मिर्जा बैग ट्रेनिंग में थे। प्रभारी शेरसिंह मंडलोई व जगदीश पिपलाज थे। दोपहर 2 बजे बारिश हुई तो बच्चों की छुट्‌टी कर दी। दोपहर 2.30 बजे स्कूल में ताले लगे थे। पिछले साल सेवा देने वाले अतिथि शिक्षक वर्षा पाटीदार व नाथूलाल चौहान वेतन मिलने का आश्वासन नहीं होने से कभी आते हैं, कभी नहीं। प्रभारी मंडलोई कहते हैं माध्यमिक व हाईस्कूल इतने स्टाफ में संभालना संभव नहीं है। हाजिरी भर देते हैं। पढ़ाई नहीं हो रही।

खिलेड़ी : बारिश हुई तो कर दी छुट्‌टी, दोपहर 2.30 स्कूल में लगे थे ताले

यूं खराब होता जा रहा है रिजल्ट

40हजार बच्चे नौवीं और 11वीं में

35हजार बच्चे हैं 10वीं और 12वीं में

75में कोई शिक्षक पदस्थ नहीं

275हाईस्कूल-हायर सेकंडरी है जिले में

 75 हाईस्कूल में एक भी शिक्षक नहीं, शिक्षण सत्र के 220 में से 30 दिन निकलने के बाद ये हाल

 ऑनलाइन भर्ती में 30 दिन और लगने का अंदेशा

भास्कर संवाददाता | धार

अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति नहीं होने से जिलेभर के स्कूलों में बच्चों की पढ़ाई बंद पड़ी है। शिक्षण सत्र में कुल 220 दिन पढ़ाई के हाेते हैं, जिनमें से चालू हुए 30 दिन बीत चुके हैं। बताया जा रहा है कि प्रक्रिया इस बार ऑनलाइन होनी है, ऐसा हुआ तो 30 दिन और लगने का अंदेशा है। यानी एक चौथाई शिक्षक सत्र इसी तरह निकल जाएगा।

भास्कर ने बुधवार को जिलेभर के स्कूलों में जाकर पड़ताल की तो पता लगा करीब 75 हाईस्कूलों में तो एक भी शिक्षक नहीं है। अंचल में अधिकतर हाईस्कूलों को माध्यमिक विद्यालयों के स्टाफ के भरोसे छोड़ रखा है, कुछ जगह दो घंटे पढ़ाई के बाद छुट्‌टी की जा रही है। कुछ जगह तो एक महीने से विज्ञान के चमत्कार का निबंध और छुट्‌टी का आवेदन ही याद करवा रहे हैं। ग्रामीण अंचल ही नहीं, जिला मुख्यालय भी इससे अछूता नहीं है। यहां के स्कूलों में भी कई विषयों की पढ़ाई अब तक शुरू नहीं हो पाई। जिम्मेदार अधिकारी कह रहे हैं कि पूरे प्रदेश में ही हालात ऐसे हैं। शासन से पॉलिसी निर्धारित होने पर ही कुछ हो सकता है।

राजोद : यूडीटी शिक्षक पढ़ा रहे हैं 11वीं व 12वीं को

रानीखेड़ी स्थित बालक उमावि में 290 विद्यार्थी अध्ययनरत है। कक्षा 11वीं व 12वीं में विज्ञान विषय में भौतिक, रसायन, जीव विज्ञान के शिक्षक नहीं हैं। आर्ट में इतिहास, राजनीतिशास्त्र, कॉमर्स एवं अंग्रेजी विषय के शिक्षक नहीं हैं। 9वीं व 10वीं में गणित, विज्ञान, अंग्रेजी के शिक्षक नहीं हैं। यूडीटी शिक्षक पढ़ा रहे हैं।

मॉडल स्कूल मे शिक्षक नहीं होने से 5 पीरियड़ नही लग रहे। छात्र बैठकर समय बीताते हुए।

यहां हाईस्कूल में पिछले साल 12 बच्चे थे। 6 फेल हो गए। 6 को पूरक आई। एक भी पास नहीं हुआ था। बुधवार को 10वीं के 36 बच्चों से पूछा कि एक महीने से क्या पढ़ाई हुई तो बोलें विज्ञान के चमत्कार का निबंध सर ने लिखवाया था, रोज वही याद कर रहे हैं। सुनाने का कहने पर एक भी बच्चा नहीं बोल पाया। इसी तरह नौवीं के 39 बच्चों को अंग्रेजी में छुट्‌टी का आवेदन लिखवा दिया और एक महीने बाद भी उन्हें याद नहीं है। दो ही शिक्षक हैं। प्रभारी हिंदी पढ़ाते हैं और अतिथि शिक्षक जो आश्वासन पर आ रहे हैं वे गणित पढ़ा रहे हैं। संस्कृत, सामाजिक, विज्ञान, अंग्रेजी पढ़ाने वाला कोई नहीं है।

धुलेट : पिछले साल एक भी बच्चा पास नहीं हुआ, एक महीने से याद कर रहे निबंध

इंदौर नाके पर है मॉडल स्कूल। सिर्फ नाम ही है क्योंकि शिक्षण व्यवस्था मॉडल नहीं है। 4 नियमित शिक्षक हैं और कक्षाएं 8 हैं। नौवीं कक्षा के विद्यार्थियों से रिपोर्टर ने सवाल किया तो वे बोलें पहले तीन पीरियड गणित, हिंदी और विज्ञान के ही लग रहे हैं। इसके बाद के 5 पीरियड में पढ़ाई नहीं हो रही। स्कूल समिति पिछले साल काम करने वाले अतिथि शिक्षक प्रणय लोधी, ऋतुराज शर्मा व गायत्री पालीवाल की सेवाएं ले रही है पर स्पष्ट कह दिया है कि वेतन मिलेगा, यह पक्का नहीं है। बुधवार को शर्मा व पालीवाल पढ़ा रहे थे। जबकि नियमित शिक्षक सरिता सोलंकी कोई पीरियड लेती नहीं मिली। पूछा तो बोलीं और भी काम हैं।

धार : नाम मॉडल स्कूल, एक महीने से 8 में से 3 पीरियड में हो रही पढ़ाई

10वीं में 51.71% रिजल्ट रहा था, पिछले साल से 11 प्रतिशत कम

12वीं में 67.49 प्रतिशत बच्चे हुए थे पास, पिछले साल से 7 प्रतिशत कम

9वीं में 53.88 प्रतिशत ही बच्चे हुए थे पास

11वीं में 79 % हुए थे पास 

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