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भर्ती का ऐसा नियम तो पूरे मध्यप्रदेश में नहीं...

सिवनी. संयुक्त अतिथि शिक्षक संघ के द्वारा सिवनी जिले में जारी ऑन लाइन अतिथि शिक्षक भर्ती प्रक्रिया को त्रुटिपूर्ण होने का आरोप लगाते हुए निरस्त किए जाने की मांग को लेकर ज्ञापन सौंपा गया है।

संयुक्त अतिथि शिक्षक संघ के जिला अध्यक्ष लीलाधर जैन द्वारा बताया गया कि इस प्रक्रिया में जो ऑन लाइन स्वीकृत पद पर स्कूलवार अतिथि शिक्षकों की भर्ती की जानी प्रस्तावित है, इसमें एक अभ्यार्थी को 26 जून तक कोई भी तीन स्कूल का चयन कर विषयवार फार्म भरने की सुविधा उपलब्ध कराई गई थी तथा फार्म भरने के बाद दिनांक 27 से 29 जून तक संबंधित विद्यालय जाकर मूल दस्तावेजों से सत्यापन कर ऑन लाईन फार्म एवं समस्त दस्तावेजों की छायाप्रति संबंधित विद्यालय में जमा किया जाने का निर्देश दिया गया था।

ज्ञापन में आरोप लगाते कहा गया है कि इस प्रक्रिया के माध्यम से अभ्यार्थी द्वारा तीन स्कूल का चयन कर ऑन लाइन फार्म भरा गया और जब संबंधित तीनों विद्यालय जाकर मूल दस्तावेजों का सत्यापन करवाने एवं फार्म जमा करने जाया गया तो संबंधित तीनों विद्यालय के प्राचार्यों द्वारा अभ्यार्थी के मूल दस्तावेजों सेे न ही सत्यापन किया गया ओर न ही फार्म लिया गया और यह कहकर लौटा दिया गया कि हमारे विद्यालय में वह पद जिसके लिए अभ्यार्थी ने आवेदन किया है रिक्त ही नहीं है। ऐसी स्थिति में वह अभ्यार्थी तीनों स्कूल से वंचित हो गया जबकि उसके पास केवल तीन विद्यालयों के चयन का ही विकल्प मौजूद था। ऐसे अभ्यार्थिंयों के पास उनके फार्म निरस्त होने का ऑन लाइन संदेश भी प्राप्त हो चुका है। जबकि विषयवार रिक्त पद संबंधित विद्यालय में भर्ती पोर्टल पर दिखाई दे रहे हंै।

संघ द्वारा कहा गया है कि यह प्रक्रिया पूर्व जिला कलेक्टर द्वारा प्रारंभ की गई है जबकि मप्र के किसी भी अन्य जिलों में इस प्रकार की कोई भर्ती प्रक्रिया नहीं अपनाई जा रही है। न ही मप्र शासन का आज दिनांक तक कोई आदेश आया है कि अतिथि शिक्षकों की भर्ती ऑन लाइन की जाए।

अध्यक्ष ने कहा कि अतिथि शिक्षक विगत 9 वर्षों से लगातार न्यूनतम वेतनमान पर अपनी सेवाएं देते आ रहे है। मप्र सरकार एवं शिक्षा मंत्री कई बार ऐलान कर चुके है कि अतिथि शिक्षको को बहुत जल्द संविदा शिक्षक बनाया जाएगा। और ऐसे में यदि जिला प्रशासन द्वारा इस प्रकार की दोषपूर्ण भर्ती प्रक्रिया अपनाई जाती है तो विगत 9 वर्षों से लगातार कार्यरत अतिथि शिक्षकों के बाहर होने की संभावना है। इस संदर्भ में शुक्रवार को संयुक्त अतिथि शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष लीलाधर जैन द्वारा कलेक्टर को पत्र लिखा गया है जिसमें उन्होंने इस प्रकार की त्रुटिपूर्ण भर्ती प्रक्रिया को निरस्त करने तथा मप्र. शासन के विगत 09 वर्षों के आदेश अनुसार भर्ती प्रक्रिया अपनानेे का आग्रह नवनियुक्त कलेक्टर से किया है।

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