भिंड। नईदुनिया प्रतिनिधि सरकारी स्कूलों में पढ़ाई का स्तर
सुधारने एक्शन प्लान तैयार किया जा रहा है। इस बार बोर्ड परीक्षा में 10वीं
और 12वीं कक्षा का रिजल्ट बिगड़ने के बाद कलेक्टर इलैया राजा टी बड़ा कदम
उठाने जा रहे हैं।
शनिवार को जिला पंचायत सभागार में शिक्षा विभाग की बैठक में कलेक्टर ने कहा है सरकारी स्कूलों के शिक्षक ट्यूशन पढ़ाएंगे तो उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई के साथ एफआईआर दर्ज होगी। जल्द ही इस संबंध में आदेश जारी होगा। 10वीं और 12वीं में खराब रिजल्ट वाले 76 सरकारी हाईस्कूल और हायर सेकंडरी स्कूल के प्राचार्य को नोटिस जारी कर समीक्षा होगी। इसके बाद दोषी प्राचार्य और शिक्षक पर वेतनवृद्धि रोकने व वेतन राजसात की कार्रवाई होगी।
शिक्षा मंत्री ने दिए हैं कार्रवाई के निर्देशः
हाईस्कूल और हायर सेकंडरी स्कूल के रिजल्ट की समीक्षा भोपाल में 22 और 23 मई को स्कूल शिक्षा मंत्री विजय शाह और आयुक्त ने की थी। शिक्षा मंत्री ने भी खराब रिजल्ट वाले स्कूलों में प्राचार्य और शिक्षकों पर कार्रवाई के लिए कहा है। कलेक्टर के निर्देश पर अब हर हाल में बुधवार तक जिले के इन 76 स्कूलों को नोटिस जारी किए जाएंगे। इसके बाद तय किया जाएगा कि रिजल्ट खराब होने का दोषी प्राचार्य और शिक्षक पर क्या कार्रवाई की जाएगी। कलेक्टर ने इस बार वेतनवृद्धि रोकने के अलावा वेतन राजसात करने के लिए भी कहा है। यानी अगर किसी स्कूल में रसायन विज्ञान का शिक्षक है और छात्र के रसायन विज्ञान विषय में नंबर जीरो हैं तो शिक्षक पर कार्रवाई तय होगी।
ऐसा रहा था इसबार बोर्ड परीक्षा का रिजल्टः
जिले के 143 हाईस्कूल और 48 हायर सेकंडरी स्कूलों में 76 हाईस्कूल ऐसे हैं, जिनका रिजल्ट 0 से 30 फेीसदी रहा। हायर सेकंडरी में 25 ऐसे स्कूल हैं, जिनका रिजल्ट 0 से 30 फेीसदी रहा है। यानी आधे से ज्यादा स्कूलों का रिजल्ट खराब रहा। हायर सेकंडरी का रिजल्ट जिलेभर में 19.76 फीसदी और हाईस्कूल का रिजल्ट 23.32 फीसदी रहा है।
कोर ग्रुप का गठन किया जाएगाः
रिजल्ट भले ही 10वीं और 12वीं का बिगड़ा है, लेकिन स्कूलों में पढ़ाई का स्तर सुधारने के लिए प्लानिंग कक्षा 1 से 12वीं तक की जा रही है। यानी अगर छात्र जब प्राइमरी और मिडिल स्कूल से ही पढ़ाई में होशियार होगा तो 10वीं और 12वीं की परीक्षा में रिजल्ट नहीं बिगड़ेगा। जिले के सरकारी स्कूलों में अतिथि शिक्षकों की भर्ती सीधी नहीं की जाकर जिला स्तर से की जाएगी। पूरे जिले के स्कूलों का टाइम टेबल एक जैसा होगा। यानी सभी स्कूलों में विषयवार पीरियड का समय एक होगा। छात्रों का हर माह टेस्ट होगा। इसके लिए जिला स्तर पर पेपर तैयार किया जाएगा। शिक्षकों का जॉब चार्ट तैयार किया जाएगा। शिक्षकों को रोजाना अगले दिन की पाठ्य योजना देना होगी। कोर गु्रप में डीईओ एसएन तिवारी, डीपीसी संजीव शर्मा, एपीसी संजीव दूरवार के अलावा सभी बीईओ और बीआरसी को शामिल किए जाएंगे।
स्कूलों में 3 साल का रिकॉर्ड खंगलवायाः
शनिवार को जिला पंचायत सभागार में हुई बैठक से पहले जिला शिक्षा अधिकारी एसएन तिवारी और जिला शिक्षा केंद्र समन्वयक संजीव शर्मा के निर्देश पर जिलेभर के सरकारी स्कूलों में पिछले 3 साल का रिकॉर्ड खंगलवाया गया है, ताकि स्कूल के स्टाफ और उनके कामकाज की समीक्षा की जा सके। इसके अलावा स्कूल में छात्रों की संख्या। मध्यान्ह भोजन की स्थिति भी मांगी गई।
जिले में यह हैं सरकारी स्कूलः
1751ः प्राइमरी स्कूल हैं जिले में।
741ः मिडिल स्कूल हैं जिले में।
106ः हाईस्कूल हैं जिले में।
057ः मिडिल स्कूल हैं जिले में।
शनिवार को जिला पंचायत सभागार में शिक्षा विभाग की बैठक में कलेक्टर ने कहा है सरकारी स्कूलों के शिक्षक ट्यूशन पढ़ाएंगे तो उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई के साथ एफआईआर दर्ज होगी। जल्द ही इस संबंध में आदेश जारी होगा। 10वीं और 12वीं में खराब रिजल्ट वाले 76 सरकारी हाईस्कूल और हायर सेकंडरी स्कूल के प्राचार्य को नोटिस जारी कर समीक्षा होगी। इसके बाद दोषी प्राचार्य और शिक्षक पर वेतनवृद्धि रोकने व वेतन राजसात की कार्रवाई होगी।
शिक्षा मंत्री ने दिए हैं कार्रवाई के निर्देशः
हाईस्कूल और हायर सेकंडरी स्कूल के रिजल्ट की समीक्षा भोपाल में 22 और 23 मई को स्कूल शिक्षा मंत्री विजय शाह और आयुक्त ने की थी। शिक्षा मंत्री ने भी खराब रिजल्ट वाले स्कूलों में प्राचार्य और शिक्षकों पर कार्रवाई के लिए कहा है। कलेक्टर के निर्देश पर अब हर हाल में बुधवार तक जिले के इन 76 स्कूलों को नोटिस जारी किए जाएंगे। इसके बाद तय किया जाएगा कि रिजल्ट खराब होने का दोषी प्राचार्य और शिक्षक पर क्या कार्रवाई की जाएगी। कलेक्टर ने इस बार वेतनवृद्धि रोकने के अलावा वेतन राजसात करने के लिए भी कहा है। यानी अगर किसी स्कूल में रसायन विज्ञान का शिक्षक है और छात्र के रसायन विज्ञान विषय में नंबर जीरो हैं तो शिक्षक पर कार्रवाई तय होगी।
ऐसा रहा था इसबार बोर्ड परीक्षा का रिजल्टः
जिले के 143 हाईस्कूल और 48 हायर सेकंडरी स्कूलों में 76 हाईस्कूल ऐसे हैं, जिनका रिजल्ट 0 से 30 फेीसदी रहा। हायर सेकंडरी में 25 ऐसे स्कूल हैं, जिनका रिजल्ट 0 से 30 फेीसदी रहा है। यानी आधे से ज्यादा स्कूलों का रिजल्ट खराब रहा। हायर सेकंडरी का रिजल्ट जिलेभर में 19.76 फीसदी और हाईस्कूल का रिजल्ट 23.32 फीसदी रहा है।
कोर ग्रुप का गठन किया जाएगाः
रिजल्ट भले ही 10वीं और 12वीं का बिगड़ा है, लेकिन स्कूलों में पढ़ाई का स्तर सुधारने के लिए प्लानिंग कक्षा 1 से 12वीं तक की जा रही है। यानी अगर छात्र जब प्राइमरी और मिडिल स्कूल से ही पढ़ाई में होशियार होगा तो 10वीं और 12वीं की परीक्षा में रिजल्ट नहीं बिगड़ेगा। जिले के सरकारी स्कूलों में अतिथि शिक्षकों की भर्ती सीधी नहीं की जाकर जिला स्तर से की जाएगी। पूरे जिले के स्कूलों का टाइम टेबल एक जैसा होगा। यानी सभी स्कूलों में विषयवार पीरियड का समय एक होगा। छात्रों का हर माह टेस्ट होगा। इसके लिए जिला स्तर पर पेपर तैयार किया जाएगा। शिक्षकों का जॉब चार्ट तैयार किया जाएगा। शिक्षकों को रोजाना अगले दिन की पाठ्य योजना देना होगी। कोर गु्रप में डीईओ एसएन तिवारी, डीपीसी संजीव शर्मा, एपीसी संजीव दूरवार के अलावा सभी बीईओ और बीआरसी को शामिल किए जाएंगे।
स्कूलों में 3 साल का रिकॉर्ड खंगलवायाः
शनिवार को जिला पंचायत सभागार में हुई बैठक से पहले जिला शिक्षा अधिकारी एसएन तिवारी और जिला शिक्षा केंद्र समन्वयक संजीव शर्मा के निर्देश पर जिलेभर के सरकारी स्कूलों में पिछले 3 साल का रिकॉर्ड खंगलवाया गया है, ताकि स्कूल के स्टाफ और उनके कामकाज की समीक्षा की जा सके। इसके अलावा स्कूल में छात्रों की संख्या। मध्यान्ह भोजन की स्थिति भी मांगी गई।
जिले में यह हैं सरकारी स्कूलः
1751ः प्राइमरी स्कूल हैं जिले में।
741ः मिडिल स्कूल हैं जिले में।
106ः हाईस्कूल हैं जिले में।
057ः मिडिल स्कूल हैं जिले में।