छिंदवाड़ा .
स्कूलों में स्वीकृत शैक्षणिक पदों के अनुरूप पदस्थापना सुनिश्चित करने के
लिए युक्तियुक्तकरण की कार्रवाई एजुकेशन पोर्टल के माध्यम से ऑनलाइन किए
जा रहे हैं। विभाग ने उक्त कार्य में पारदर्शिता लाने तथा किसी प्रकार का
विवाद उत्पन्न न हो इसके लिए शिक्षकों को दावा-आपत्ति के लिए मौका भी दिया
गया।
इसी संदर्भ में शासन ने प्राथमिक शालाओं के लिए जारी अतिशेष की सूची पर आपत्ति दर्ज करने की समयावधि को एक मई 2017 तक बढ़ा दिया गया है।
इसी संदर्भ में शासन ने प्राथमिक शालाओं के लिए जारी अतिशेष की सूची पर आपत्ति दर्ज करने की समयावधि को एक मई 2017 तक बढ़ा दिया गया है।
मप्र स्कूल शिक्षा विभाग ने बढ़ाई तिथि
इसके पूर्व उक्त तिथि 27 अप्रैल 2017 थी। बताया जाता है कि किसी स्कूल में दर्ज नामांकन संख्या में कमी या अधिकता है तो उस बाबत आपत्ति संकुल प्राचार्य के माध्यम से दर्ज की जानी है। अधिक की स्थिति में अधिक नामांकित छात्र-छात्राओं की संख्या जो एजुकेशन पोर्टल के समग्र आईडी की अनुपलब्धता के कारण शाला की दर्ज संख्या में सम्मिलित नहीं पाए है, उनकी सूची निर्धारित प्रारूप में उपलब्ध कराना है।
वहीं उपलब्ध कराई गई दर्ज संख्या में किसी भी प्रकार की त्रुटि या गलत जानकारी दर्ज की जाती है तो इसकी सम्पूर्ण जिम्मेदारी सम्बंधित शिक्षक, प्रधानाध्यापक तथा संकुल प्राचार्य की होगी तथा उनके खिलाफ अनुशसनात्मक कार्रवाई की जा सकती है।
इन पर नहीं पडेग़ा युक्तियुक्तकरण का प्रभाव
मप्र लोक शिक्षण संचालनालय ने युक्तियुक्तकरण के संदर्भ में गाइडलाइन जारी करते हुए स्पष्ट किया है कि एेसे शिक्षक अथवा अध्यापक जो 30 अप्रैल 2018 के पूर्व सेवा निवृत्त हो रहे है। एेसे शिक्षकों को युक्तियुक्तकरण के आदेश से पृथक रखा जाएगा। अर्थात उन्हें अतिशेष घोषित कर अन्यत्र पदस्थ नहीं किया जाएगा। इसके चलते वे सेवा निवृत्ति तक संबंधित संस्था में पदस्थ रहेंगे।
बताया जाता है कि माध्यमिक शालाओं में अतिशेष शिक्षकों की जानकारी पोर्टल पर 5 मई 2017 को पब्लिक डोमेन में प्रदर्शित की जाएगी। वहीं 17 मई को काउंसलिंग के बाद अंतिम रूप से पदस्थापना सूची पोर्टल पर अपलोड की जाएगी तथा 20 मई 2017 तक अतिशेष शिक्षकों को पदभार ग्रहण करना होगा।
इसके पूर्व उक्त तिथि 27 अप्रैल 2017 थी। बताया जाता है कि किसी स्कूल में दर्ज नामांकन संख्या में कमी या अधिकता है तो उस बाबत आपत्ति संकुल प्राचार्य के माध्यम से दर्ज की जानी है। अधिक की स्थिति में अधिक नामांकित छात्र-छात्राओं की संख्या जो एजुकेशन पोर्टल के समग्र आईडी की अनुपलब्धता के कारण शाला की दर्ज संख्या में सम्मिलित नहीं पाए है, उनकी सूची निर्धारित प्रारूप में उपलब्ध कराना है।
वहीं उपलब्ध कराई गई दर्ज संख्या में किसी भी प्रकार की त्रुटि या गलत जानकारी दर्ज की जाती है तो इसकी सम्पूर्ण जिम्मेदारी सम्बंधित शिक्षक, प्रधानाध्यापक तथा संकुल प्राचार्य की होगी तथा उनके खिलाफ अनुशसनात्मक कार्रवाई की जा सकती है।
इन पर नहीं पडेग़ा युक्तियुक्तकरण का प्रभाव
मप्र लोक शिक्षण संचालनालय ने युक्तियुक्तकरण के संदर्भ में गाइडलाइन जारी करते हुए स्पष्ट किया है कि एेसे शिक्षक अथवा अध्यापक जो 30 अप्रैल 2018 के पूर्व सेवा निवृत्त हो रहे है। एेसे शिक्षकों को युक्तियुक्तकरण के आदेश से पृथक रखा जाएगा। अर्थात उन्हें अतिशेष घोषित कर अन्यत्र पदस्थ नहीं किया जाएगा। इसके चलते वे सेवा निवृत्ति तक संबंधित संस्था में पदस्थ रहेंगे।
बताया जाता है कि माध्यमिक शालाओं में अतिशेष शिक्षकों की जानकारी पोर्टल पर 5 मई 2017 को पब्लिक डोमेन में प्रदर्शित की जाएगी। वहीं 17 मई को काउंसलिंग के बाद अंतिम रूप से पदस्थापना सूची पोर्टल पर अपलोड की जाएगी तथा 20 मई 2017 तक अतिशेष शिक्षकों को पदभार ग्रहण करना होगा।