जबलपुर। लोक शिक्षण संचालनालय (डीपीआई) कमिशनर नीरज दुबे ने एक बार फिर जेडी मनीष वर्मा, जिला शिक्षा अधिकारी सतीश अग्रवाल को लापरवाही पर फटकार लगाई है।
कमिश्नर ने नवंबर माह का निरीक्षण प्रतिवेदन नहीं पहुंचने पर दोनों ही अधिकारियों को पत्र भेजते हुए दो टूक कहा कि जनवरी समाप्त होने को है, लेकिन अभी तक नवंबर माह का निरीक्षण प्रतिवेदन नहीं पहुंचा है, इसका मतलब यही है कि दोनों ही अधिकारियों ने स्कूलों की वास्तविक स्थिति का आंकलन नहीं किया है। कमिशनर के कड़े तेवर के बाद जिला शिक्षा विभाग में हड़कंप मच गया है, जेडी और डीईओ आॅफिस के कर्मचारी नवंबर माह का निरीक्षण प्रतिवेदन तैयार करने में जुट गए हैं।
डीपीआई आयुक्त ने जबलपुर सहित करीब 40 जिलों के जिला शिक्षा अधिकारियों व संभागीय लोक शिक्षण संचालनालय अफसरों को पत्र भेजकर नवंबर माह का निरीक्षण प्रतिवेदन के निर्देश दिए हैं। आयुक्त ने कहा 23 और 24 दिसंबर को भोपाल से आयोजित वीसी (वीडियो कॉन्फ्र्रेंस) में निर्देश दिए गए थे, लेकिन भोपाल, इंदौर और रीवा के जेडी और कुछ जिलों के जिला शिक्षा अधिकारियों को छोड़ दिया जाए तो किसी ने निरीक्षण की जानकारी नहीं पहुंचाई है।
कार्रवाई नहीं होती इसलिए अफसर मनमौजी
डीपीआई कमिश्नर आए दिन किसी न किसी मामले को लेकर जिलों के अफसरों को पत्र लिखकर फटकार लगाते हैं। इसके बावजूद अधिकारी अपनी कार्यप्रणाली पर सुधार नहीं करते हैं। कहा जा रहा है कि शिक्षा विभाग के अधिकारियों पर कार्रवाई नहीं होती है इसलिए सारे अधिकारी मनमौजी बने हुए हैं। वरिष्ठ अफसरों की आदेशों की अवहेलना होती है इसके बाद भी अधिकारियों पर किसी भी तरह से कार्रवाई नहीं होती है।
कुछ जिलों के अधिकारियों ने जानकारी पहुंचाई है। शेष अन्य जिलों से जानकारी प्राप्त होती जा रही है। यह रूटीन प्रक्रिया है इसमें किसी भी तरह की कार्रवाई करने का प्रावधान नहीं है।
नीरज दुबे, आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय
कमिश्नर ने नवंबर माह का निरीक्षण प्रतिवेदन नहीं पहुंचने पर दोनों ही अधिकारियों को पत्र भेजते हुए दो टूक कहा कि जनवरी समाप्त होने को है, लेकिन अभी तक नवंबर माह का निरीक्षण प्रतिवेदन नहीं पहुंचा है, इसका मतलब यही है कि दोनों ही अधिकारियों ने स्कूलों की वास्तविक स्थिति का आंकलन नहीं किया है। कमिशनर के कड़े तेवर के बाद जिला शिक्षा विभाग में हड़कंप मच गया है, जेडी और डीईओ आॅफिस के कर्मचारी नवंबर माह का निरीक्षण प्रतिवेदन तैयार करने में जुट गए हैं।
डीपीआई आयुक्त ने जबलपुर सहित करीब 40 जिलों के जिला शिक्षा अधिकारियों व संभागीय लोक शिक्षण संचालनालय अफसरों को पत्र भेजकर नवंबर माह का निरीक्षण प्रतिवेदन के निर्देश दिए हैं। आयुक्त ने कहा 23 और 24 दिसंबर को भोपाल से आयोजित वीसी (वीडियो कॉन्फ्र्रेंस) में निर्देश दिए गए थे, लेकिन भोपाल, इंदौर और रीवा के जेडी और कुछ जिलों के जिला शिक्षा अधिकारियों को छोड़ दिया जाए तो किसी ने निरीक्षण की जानकारी नहीं पहुंचाई है।
कार्रवाई नहीं होती इसलिए अफसर मनमौजी
डीपीआई कमिश्नर आए दिन किसी न किसी मामले को लेकर जिलों के अफसरों को पत्र लिखकर फटकार लगाते हैं। इसके बावजूद अधिकारी अपनी कार्यप्रणाली पर सुधार नहीं करते हैं। कहा जा रहा है कि शिक्षा विभाग के अधिकारियों पर कार्रवाई नहीं होती है इसलिए सारे अधिकारी मनमौजी बने हुए हैं। वरिष्ठ अफसरों की आदेशों की अवहेलना होती है इसके बाद भी अधिकारियों पर किसी भी तरह से कार्रवाई नहीं होती है।
कुछ जिलों के अधिकारियों ने जानकारी पहुंचाई है। शेष अन्य जिलों से जानकारी प्राप्त होती जा रही है। यह रूटीन प्रक्रिया है इसमें किसी भी तरह की कार्रवाई करने का प्रावधान नहीं है।
नीरज दुबे, आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय