सिवनीमालवा (निप्र)।शहर सहित ग्रामीण अंचलों में पदस्थ शिक्षकों के लिए
जिला शिक्षा अधिकारी का एक आदेश गले की फांस बन गया है। अब हालत यह है कि
शिक्षकों भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। सूत्रों की माने तो विगत
दिनों जिला शिक्षा अधिकारी ने एक आदेश जारी कर शिक्षण संस्थाओं से जुड़े सभी
शिक्षकों और कर्मचारियों को ई अटेंडेंस के माध्यम से अटेंडेंस लगाना
अनिवार्य है।
आदेश मे यह स्पष्ट लिखा है कि किसी भी शिक्षक की ई अटेंडेंस नही लगने पर अनुपिस्थिति मानी जाएगी साथ ही अनुपस्थित शिक्षकों का वेतन भी काटा जाएगा । अब शिक्षक हैरान परेशान घूम रहे हैं।
ये हो रही समस्याएं - शासन ने शिक्षकों के लिए जारी फरमान के बाद शिक्षकों की परेशानी बढा दी है। शिक्षकों को सुबह साढ़े 10 बजे अनिवार्य रूप से ई अटेंडेंस लगनी है । हालात यह है कि सबसे बड़ी परेशानी मोबाइल नेटवर्क की है कई बार शहर में ही नेटवर्क नहीं मिल पाता है और आदिवासी अंचलों में तो नेटवर्क मिलता ही नहीं है। शिक्षकों के पास एंड्राईड मोबाइल भी नही ही साथ ही कई शिक्षकों को एंड्राईड मोबाईल चलाना भी नहीं आते हैं। अब शिक्षक ऐसी स्थिती में कितनी सफल होती है यह आगे देखना है।
ना चैक इन हो रहा है ना चैक आऊट - शासन शिक्षकों के ई अटेंडेंस के लिए एम शिक्षा मित्र योजना लागू की है। जिसमें शिक्षकों क ो अनिवार्य रूप से एंड्राईड मोबाईल से सुबह साढ़े 10 बजे चैक इन और शाम को चैक आऊट करना है लेकिन नेटवर्क की समस्या से मोबाईल से ना चैक इन हो रहा है ना ही चैक आऊट ऐसी स्थिती में शिक्षक अब रजिस्टर पर ही अपनी हाजरी लगा रहे है और मोबाईल हाथ में लेकर नेटवर्क का इंतजार कर रहे है साथ ही शिक्षकों को डर भी है अगर ई अटेंडेस नही लगी तो एक माह का वेतन कट जाएगा ।
12 संकुल, एक हजार से अधिक शिक्षक - सिवनीमालवा ब्लॉक में 12 संकुल है जिसमें शासकीय नवीन हाईस्कूल, शासकीय उत्कृष्ट विद्यालय, शासकीय नेहरू स्कूल, शा.उ.मा विद्यालय शिवपुर, बाबडिया भाऊ,खपरिया,चतरखेडा, बघवाडा, हिरणखेडा, मालापाट,नवीन हाईस्कूल, से जुडे आदिवासी अंचलों के शासकीय स्कूल भावंदा, सामरदा,दविदा, गांगिया, मोरघाट, पलासी, महुआढाना, ढाडीबाडा, बारासेल, रामगढ, पापन, भेला, लोखरतलाई, बाबरी, पथाडा, कामठा, ग्वाडी सहित ग्रामीण अंचलों में शिक्षकों की समस्या जस की तस बनी हुई है। जिन शिक्षकों के पास एंड्राईड मोबाईल है उनको नेटवर्क नही मिल रहा है और कई शिक्षकों को एंड्राईड मोबाईल चलाना नही आ रहा है।
नही आया रहा पास वर्ड, रजिस्टर में लगा रहे उपस्थिती - शासकीय नवीन स्कूल में पदस्थ शिक्षक नंद किशोर नवरे बच्चों को सामाजिक विज्ञान पढाते है । शिक्षक प्रतिदिन स्कूल आ रहे है उनकी सबसे बडी समस्या यह है कि एम शिक्षा मित्र ऐप पर पासवर्ड नही आ रहा है ऐसे में ना चैक इन हो रहा है ना चैक आऊट ऐसे में ई अटेंडेंस नही लग पा रही है मजबूरी में शिक्षक नंद किशोर नवरे स्कूल में रखे उपस्थिती रजिस्टर में हाजरी लगा रहे है।
ढाड़ीवाड़ा के पदस्थ शिक्षक बृजेश काजवे ने बताया कि प्रतिदिन स्कूल जा रहे हैं आदिवासी अंचल होने के चलते नेटवर्क नही मिल पा रहा है। शासन का आदेश हुआ है लेकिन स्थानीय स्तर पर जो समस्याएं है उसकी ओर किसी का ध्यान नही है।
नहीं हुआ चैक इन - शासकीय नवीन स्कूल सिवनीमालवा में पदस्थ विज्ञान की शिक्षिका कृपा अश्वारे ने बताया कि शहरी क्षैत्र होने के बाद भी ई अटेंडेंस नही लग पा रही है। चैक दो दिनों से चैक इन ही नही हो रहा है। हम स्कूल में बैठे रहते हैं और मोबाइल पर हमारी लोकेशन स्कूल से 300 मीटर दूर बताई जा रही है।
शिक्षिका स्वाती मालवीय ने बताया कि ई अटेंडेंस के लिए मोबाईल पर ऐप का पहले तो पासवर्ड नही आ रहा था लेकिन जब पासवर्ड आया तो अटेंडेंस नही लगी जिससे चैक इन और चैक आऊट में परेशानी हो रही है। शिक्षक संघ के आरएस भारती ने बताया कि ई अटेंडेंस से शिक्षकों की परेशानी बढ गई है। नेटवर्क सहित शिक्षकों पर आर्थिक बोझ भी बढ़ा है शासन को इस ओर भी ध्यान देना चाहिए । लेखापाल मनमोहन सिंह रघुवंशी ने बताया कि स्कूल में बैठने के बाद भी नेटवर्क नही मिल रहा है। परेशानी तो है प्रतिदिन रजिस्टर में भी एंट्री कर रहे है।
ये है आदेश - शासन का आदेश है कि ई अटेंडेंस सभी स्कूलों में अनिवार्य रूप से लागू होगी । सुबह साढे 10 बजे चैक इन और शाम साढे 4 बजे चैक आऊट सभी शिक्षकों को करना होगा । साढ़े 10 बजे तक अटेंडेंस नही लगने पर उस दिन की अनुपस्थिती मानी जाएगी साथ शिक्षकों का वेतन भी काटे जाने के निर्देश है।
शासकीय नेहरू स्कूल के संकुल प्राचार्य एससी उदासी ने बताया कि ई अटेंडेंस शिक्षकों के लिए अनिवार्य की गई है । कई ग्रामीण अंचलों में नेटवर्क की समस्या आ रही है। जिससे शिक्षकों को परेशानी हो रही है। ई अटेंडेंस नही लगने की स्थिती में वेतन रोके जाने के भी निर्देश जारी किए है।
ज्ञापन सौप कर किया था विरोध -विगत दिनों मध्यप्रदेश शिक्षक संघ ने ई अटेंडेंस की अनिवार्यता को समाप्त करने को लेकर कलेक्टर के नाम एसडीएम को एक ज्ञापन सौपा था। जिसमें शिक्षकों को हो रही परेशानी के विषय में बताया था। मध्यप्रदेश शिक्षक संघ के अनिल सोनी ने मांग की यह व्यवस्था सभी विभागों में लागू होनी चाहिए साथ ही शिक्षकों को एंड्राईड मोबाईल प्रत्येक माह बेलेंस की सुविधा भी दी जाए।
आदेश मे यह स्पष्ट लिखा है कि किसी भी शिक्षक की ई अटेंडेंस नही लगने पर अनुपिस्थिति मानी जाएगी साथ ही अनुपस्थित शिक्षकों का वेतन भी काटा जाएगा । अब शिक्षक हैरान परेशान घूम रहे हैं।
ये हो रही समस्याएं - शासन ने शिक्षकों के लिए जारी फरमान के बाद शिक्षकों की परेशानी बढा दी है। शिक्षकों को सुबह साढ़े 10 बजे अनिवार्य रूप से ई अटेंडेंस लगनी है । हालात यह है कि सबसे बड़ी परेशानी मोबाइल नेटवर्क की है कई बार शहर में ही नेटवर्क नहीं मिल पाता है और आदिवासी अंचलों में तो नेटवर्क मिलता ही नहीं है। शिक्षकों के पास एंड्राईड मोबाइल भी नही ही साथ ही कई शिक्षकों को एंड्राईड मोबाईल चलाना भी नहीं आते हैं। अब शिक्षक ऐसी स्थिती में कितनी सफल होती है यह आगे देखना है।
ना चैक इन हो रहा है ना चैक आऊट - शासन शिक्षकों के ई अटेंडेंस के लिए एम शिक्षा मित्र योजना लागू की है। जिसमें शिक्षकों क ो अनिवार्य रूप से एंड्राईड मोबाईल से सुबह साढ़े 10 बजे चैक इन और शाम को चैक आऊट करना है लेकिन नेटवर्क की समस्या से मोबाईल से ना चैक इन हो रहा है ना ही चैक आऊट ऐसी स्थिती में शिक्षक अब रजिस्टर पर ही अपनी हाजरी लगा रहे है और मोबाईल हाथ में लेकर नेटवर्क का इंतजार कर रहे है साथ ही शिक्षकों को डर भी है अगर ई अटेंडेस नही लगी तो एक माह का वेतन कट जाएगा ।
12 संकुल, एक हजार से अधिक शिक्षक - सिवनीमालवा ब्लॉक में 12 संकुल है जिसमें शासकीय नवीन हाईस्कूल, शासकीय उत्कृष्ट विद्यालय, शासकीय नेहरू स्कूल, शा.उ.मा विद्यालय शिवपुर, बाबडिया भाऊ,खपरिया,चतरखेडा, बघवाडा, हिरणखेडा, मालापाट,नवीन हाईस्कूल, से जुडे आदिवासी अंचलों के शासकीय स्कूल भावंदा, सामरदा,दविदा, गांगिया, मोरघाट, पलासी, महुआढाना, ढाडीबाडा, बारासेल, रामगढ, पापन, भेला, लोखरतलाई, बाबरी, पथाडा, कामठा, ग्वाडी सहित ग्रामीण अंचलों में शिक्षकों की समस्या जस की तस बनी हुई है। जिन शिक्षकों के पास एंड्राईड मोबाईल है उनको नेटवर्क नही मिल रहा है और कई शिक्षकों को एंड्राईड मोबाईल चलाना नही आ रहा है।
नही आया रहा पास वर्ड, रजिस्टर में लगा रहे उपस्थिती - शासकीय नवीन स्कूल में पदस्थ शिक्षक नंद किशोर नवरे बच्चों को सामाजिक विज्ञान पढाते है । शिक्षक प्रतिदिन स्कूल आ रहे है उनकी सबसे बडी समस्या यह है कि एम शिक्षा मित्र ऐप पर पासवर्ड नही आ रहा है ऐसे में ना चैक इन हो रहा है ना चैक आऊट ऐसे में ई अटेंडेंस नही लग पा रही है मजबूरी में शिक्षक नंद किशोर नवरे स्कूल में रखे उपस्थिती रजिस्टर में हाजरी लगा रहे है।
ढाड़ीवाड़ा के पदस्थ शिक्षक बृजेश काजवे ने बताया कि प्रतिदिन स्कूल जा रहे हैं आदिवासी अंचल होने के चलते नेटवर्क नही मिल पा रहा है। शासन का आदेश हुआ है लेकिन स्थानीय स्तर पर जो समस्याएं है उसकी ओर किसी का ध्यान नही है।
नहीं हुआ चैक इन - शासकीय नवीन स्कूल सिवनीमालवा में पदस्थ विज्ञान की शिक्षिका कृपा अश्वारे ने बताया कि शहरी क्षैत्र होने के बाद भी ई अटेंडेंस नही लग पा रही है। चैक दो दिनों से चैक इन ही नही हो रहा है। हम स्कूल में बैठे रहते हैं और मोबाइल पर हमारी लोकेशन स्कूल से 300 मीटर दूर बताई जा रही है।
शिक्षिका स्वाती मालवीय ने बताया कि ई अटेंडेंस के लिए मोबाईल पर ऐप का पहले तो पासवर्ड नही आ रहा था लेकिन जब पासवर्ड आया तो अटेंडेंस नही लगी जिससे चैक इन और चैक आऊट में परेशानी हो रही है। शिक्षक संघ के आरएस भारती ने बताया कि ई अटेंडेंस से शिक्षकों की परेशानी बढ गई है। नेटवर्क सहित शिक्षकों पर आर्थिक बोझ भी बढ़ा है शासन को इस ओर भी ध्यान देना चाहिए । लेखापाल मनमोहन सिंह रघुवंशी ने बताया कि स्कूल में बैठने के बाद भी नेटवर्क नही मिल रहा है। परेशानी तो है प्रतिदिन रजिस्टर में भी एंट्री कर रहे है।
ये है आदेश - शासन का आदेश है कि ई अटेंडेंस सभी स्कूलों में अनिवार्य रूप से लागू होगी । सुबह साढे 10 बजे चैक इन और शाम साढे 4 बजे चैक आऊट सभी शिक्षकों को करना होगा । साढ़े 10 बजे तक अटेंडेंस नही लगने पर उस दिन की अनुपस्थिती मानी जाएगी साथ शिक्षकों का वेतन भी काटे जाने के निर्देश है।
शासकीय नेहरू स्कूल के संकुल प्राचार्य एससी उदासी ने बताया कि ई अटेंडेंस शिक्षकों के लिए अनिवार्य की गई है । कई ग्रामीण अंचलों में नेटवर्क की समस्या आ रही है। जिससे शिक्षकों को परेशानी हो रही है। ई अटेंडेंस नही लगने की स्थिती में वेतन रोके जाने के भी निर्देश जारी किए है।
ज्ञापन सौप कर किया था विरोध -विगत दिनों मध्यप्रदेश शिक्षक संघ ने ई अटेंडेंस की अनिवार्यता को समाप्त करने को लेकर कलेक्टर के नाम एसडीएम को एक ज्ञापन सौपा था। जिसमें शिक्षकों को हो रही परेशानी के विषय में बताया था। मध्यप्रदेश शिक्षक संघ के अनिल सोनी ने मांग की यह व्यवस्था सभी विभागों में लागू होनी चाहिए साथ ही शिक्षकों को एंड्राईड मोबाईल प्रत्येक माह बेलेंस की सुविधा भी दी जाए।