ग्वालियर। जिले
के माध्यमिक स्कूलों में शिक्षकों की पदस्थापना आरटीई के मानकों के अनुरूप
की जाएगी। इसके तहत जिन स्कूलों में शिक्षकों की कमी है वहां शिक्षक पदस्थ
किए जाएंगे और जहां अधिक हैं वहां से उन्हें हटाया जाएगा। शिक्षा विभाग ने
शिक्षकों की पदस्थापना संरचना स्वीकृत कर दी है।
3 शिक्षक अनिवार्य
शिक्षा का अधिकार कानून के तहत स्कूलों में शिक्षकों की पदस्थापना छात्रों की संख्या के आधार पर करने की बात कही गई है। जिले की बात करें तो कई मिडिल स्कूलों में छात्रों के अनुपात में शिक्षक कम हैं वहीं कई जगह अधिक हैं। शिक्षा विभााग ने वर्ष 2016-17 के शैक्षणिक सत्र के लिए पदस्थापना संरचना जारी कर दी है। इसके तहत मिडिल स्कूल में न्यूनतम ३ शिक्षक होंगे। 35 विद्यार्थियों पर एक शिक्षक होगा। इसके साथ ही विषयवार शिक्षकों की संख्या प्रत्येक स्कूल में पहले तीन शिक्षक गणित एवं विज्ञान, अंग्रेजी और सामाजिक विज्ञान के होंगे। छात्र शिक्षकों के अनुपात के आधार पर शिक्षकों की संख्या अधिक होने पर चौथा शिक्षक भाषा संस्कृत, पांचवा विज्ञान एवं छठवां सामाजिक विज्ञान का होगा। इसमें एेसे शिक्षकों को स्कूल से जाना पड़ सकता है जो कि निर्धारित संख्या से अधिक हैं। इन्हें शिक्षकों की कमी वाली जगह पर भेजा जा सकता है। जिसके कारण शिक्षक इसका विरोध कर सकते हैं। इससे पहले भी शिक्षकों का तबादला किए जाने पर उन्होंने विरोध जताया था।
स्नातक होना जरूरी
माध्यमिक स्कूलों में शिक्षकों की पदस्थापना में संबंधित विषय में शिक्षक का स्नातक होना जरूरी है। शिक्षा विभाग ने सिर्फ पदस्थापना संरचना स्वीकृत की है इसके तहत कोई नए पद स्वीकृत नहीं किए हैं। इसके तहत ही स्कूलों में शिक्षकों की पदस्थापना होगी। जिससे छात्रों के अनुपात में शिक्षक स्कूल में पदस्थ होकर बेहतर ढंग से अध्यापन कार्य कर सकें।
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3 शिक्षक अनिवार्य
शिक्षा का अधिकार कानून के तहत स्कूलों में शिक्षकों की पदस्थापना छात्रों की संख्या के आधार पर करने की बात कही गई है। जिले की बात करें तो कई मिडिल स्कूलों में छात्रों के अनुपात में शिक्षक कम हैं वहीं कई जगह अधिक हैं। शिक्षा विभााग ने वर्ष 2016-17 के शैक्षणिक सत्र के लिए पदस्थापना संरचना जारी कर दी है। इसके तहत मिडिल स्कूल में न्यूनतम ३ शिक्षक होंगे। 35 विद्यार्थियों पर एक शिक्षक होगा। इसके साथ ही विषयवार शिक्षकों की संख्या प्रत्येक स्कूल में पहले तीन शिक्षक गणित एवं विज्ञान, अंग्रेजी और सामाजिक विज्ञान के होंगे। छात्र शिक्षकों के अनुपात के आधार पर शिक्षकों की संख्या अधिक होने पर चौथा शिक्षक भाषा संस्कृत, पांचवा विज्ञान एवं छठवां सामाजिक विज्ञान का होगा। इसमें एेसे शिक्षकों को स्कूल से जाना पड़ सकता है जो कि निर्धारित संख्या से अधिक हैं। इन्हें शिक्षकों की कमी वाली जगह पर भेजा जा सकता है। जिसके कारण शिक्षक इसका विरोध कर सकते हैं। इससे पहले भी शिक्षकों का तबादला किए जाने पर उन्होंने विरोध जताया था।
स्नातक होना जरूरी
माध्यमिक स्कूलों में शिक्षकों की पदस्थापना में संबंधित विषय में शिक्षक का स्नातक होना जरूरी है। शिक्षा विभाग ने सिर्फ पदस्थापना संरचना स्वीकृत की है इसके तहत कोई नए पद स्वीकृत नहीं किए हैं। इसके तहत ही स्कूलों में शिक्षकों की पदस्थापना होगी। जिससे छात्रों के अनुपात में शिक्षक स्कूल में पदस्थ होकर बेहतर ढंग से अध्यापन कार्य कर सकें।
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