खंडवा। नईदुनिया प्रतिनिधि शिक्षक की कमी से परेशान विद्यार्थी
मंगलवार को हाईस्कूल से बाहर निकलकर धरने पर बैठ गए। सूचना मिलते ही विभाग
में हड़कंप मचा और एक घंटे में यहां विभागीय अमला पहुंचा। इसके बाद एक
नियमित शिक्षक और एक अतिथि की नियुक्ति की गई।
इसके बाद विद्यार्थी कक्षाओं में लौटे।
जिला मुख्यालय से करीब 22 किलोमीटर दूर ग्राम सहेजला के शासकीय हाईस्कूल में पदस्थ तीन शिक्षकों में से दो बीएड करने चले गए। इसके बाद यहां हुई दो अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति में से एक स्वास्थ्य खराब होने के कारण अवकाश पर है। शिक्षा सत्र शुरू होने के चार माह बाद भी यहां नियमित कक्षाएं नहीं लग रहीं और कई विषयों का कोर्स पिछड़ा हुआ है। इससे आक्रोशित विद्यार्थियों ने मंगलवार सुबह 11.15 बजे शिक्षा विभाग के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। शिक्षकों की नियुक्ति की मांग को लेकर छात्र-छात्राएं धरने पर बैठ गए। मामले की जानकारी मिलने पर शिक्षा विभाग में हलचल मची।
जावर संकुल से पहले कुछ वरिष्ठ शिक्षक वहां पहुंचे और विद्यार्थियों को समझाया। इसके बाद दोपहर 1 बजे संकुल प्राचार्य और प्रभारी बीईओ डॉ. जेएस बाथरी वहां पहुंचे। उन्होंने मिडिल स्कूल के एक शिक्षक और एक अतिथि शिक्षक की नियुक्ति सहेजला हाईस्कूल के लिए की। इसके बाद विद्यार्थियों का आक्रोश शांत हो सका। बताया जाता है कि विद्यार्थियों ने धरने के दौरान स्कूल भवन में ताला लगा दिया था, हालांकि अधिकारी इससे इनकार कर रहे है। शिक्षा मंत्री के गृह जिले में बार-बार आंदोलन
शिक्षा मंत्री विजय शाह के गृह जिले में बार-बार विद्यार्थी आंदोलन कर रहे हैं। शिक्षकों की कमी से परेशान भोंडवा स्कूल के विद्यार्थी रैली निकालते हुए कलेक्टोरेट पहुंच गए थे, वहीं रुस्तमपुर के विद्यार्थियों ने तो कलेक्टोरेट परिसर में ही बैठकर पढ़ाई करना शुरू कर दी थी। विद्यार्थियों के विरोध प्रदर्शन के बाद इन स्कूलों में शिक्षकों की नियुक्ति हो सकी है। अब ताजा मामले में भी शिक्षकों की कमी के कारण परेशान विद्यार्थियों ने आंदोलन किया है।
दो हजार पद हैं खाली
जिले में शिक्षकों के करीब दो हजार पद खाली हैं। इसमें 170 हाईस्कूल और हायर सेकंडरी में करीब 576 शिक्षकों के पद खाली हैं। इसके साथ ही प्रायमरी और मिडिल स्कूल में लगभग डेढ़ हजार पद रिक्त हैं। ऐसे में व्यवस्था अतिथि शिक्षकों के भरोसे है। ग्रामीण क्षेत्रों में अंग्रेजी और गणित के शिक्षक भी नहीं मिल रहे हैं।
शिक्षकों की नियुक्ति
सहेजला स्कूल के दो शिक्षकों के बीएड करने के कारण यहां शिक्षकों की कमी हो गई है। अतिथियों की नियुक्ति की थी लेकिन एक अतिथि का स्वास्थ्य खराब हो गया। अब मिडिल स्कूल के एक शिक्षक और एक अतिथि की नियुक्ति की गई है। - डॉ. जेएस बाथरी, संकुल प्राचार्य, जावर
इसके बाद विद्यार्थी कक्षाओं में लौटे।
जिला मुख्यालय से करीब 22 किलोमीटर दूर ग्राम सहेजला के शासकीय हाईस्कूल में पदस्थ तीन शिक्षकों में से दो बीएड करने चले गए। इसके बाद यहां हुई दो अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति में से एक स्वास्थ्य खराब होने के कारण अवकाश पर है। शिक्षा सत्र शुरू होने के चार माह बाद भी यहां नियमित कक्षाएं नहीं लग रहीं और कई विषयों का कोर्स पिछड़ा हुआ है। इससे आक्रोशित विद्यार्थियों ने मंगलवार सुबह 11.15 बजे शिक्षा विभाग के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। शिक्षकों की नियुक्ति की मांग को लेकर छात्र-छात्राएं धरने पर बैठ गए। मामले की जानकारी मिलने पर शिक्षा विभाग में हलचल मची।
जावर संकुल से पहले कुछ वरिष्ठ शिक्षक वहां पहुंचे और विद्यार्थियों को समझाया। इसके बाद दोपहर 1 बजे संकुल प्राचार्य और प्रभारी बीईओ डॉ. जेएस बाथरी वहां पहुंचे। उन्होंने मिडिल स्कूल के एक शिक्षक और एक अतिथि शिक्षक की नियुक्ति सहेजला हाईस्कूल के लिए की। इसके बाद विद्यार्थियों का आक्रोश शांत हो सका। बताया जाता है कि विद्यार्थियों ने धरने के दौरान स्कूल भवन में ताला लगा दिया था, हालांकि अधिकारी इससे इनकार कर रहे है। शिक्षा मंत्री के गृह जिले में बार-बार आंदोलन
शिक्षा मंत्री विजय शाह के गृह जिले में बार-बार विद्यार्थी आंदोलन कर रहे हैं। शिक्षकों की कमी से परेशान भोंडवा स्कूल के विद्यार्थी रैली निकालते हुए कलेक्टोरेट पहुंच गए थे, वहीं रुस्तमपुर के विद्यार्थियों ने तो कलेक्टोरेट परिसर में ही बैठकर पढ़ाई करना शुरू कर दी थी। विद्यार्थियों के विरोध प्रदर्शन के बाद इन स्कूलों में शिक्षकों की नियुक्ति हो सकी है। अब ताजा मामले में भी शिक्षकों की कमी के कारण परेशान विद्यार्थियों ने आंदोलन किया है।
दो हजार पद हैं खाली
जिले में शिक्षकों के करीब दो हजार पद खाली हैं। इसमें 170 हाईस्कूल और हायर सेकंडरी में करीब 576 शिक्षकों के पद खाली हैं। इसके साथ ही प्रायमरी और मिडिल स्कूल में लगभग डेढ़ हजार पद रिक्त हैं। ऐसे में व्यवस्था अतिथि शिक्षकों के भरोसे है। ग्रामीण क्षेत्रों में अंग्रेजी और गणित के शिक्षक भी नहीं मिल रहे हैं।
शिक्षकों की नियुक्ति
सहेजला स्कूल के दो शिक्षकों के बीएड करने के कारण यहां शिक्षकों की कमी हो गई है। अतिथियों की नियुक्ति की थी लेकिन एक अतिथि का स्वास्थ्य खराब हो गया। अब मिडिल स्कूल के एक शिक्षक और एक अतिथि की नियुक्ति की गई है। - डॉ. जेएस बाथरी, संकुल प्राचार्य, जावर