सरकारी कॉलेजों में असिस्टेंट प्रोफेसरों की नियुक्ति लिखित परीक्षा के
आधार पर ही होगी। प्रदेश कैबिनेट ने यह फैसला किया है कि लिखित परीक्षा के
बाद प्रावीण्य सूची के आधार पर उम्मीदवारों का चयन किया जाएगा। मप्र लोक
सेवा आयोग ने सरकारी कॉलेजों में असिस्टेंट प्रोफेसरों के 3422 पदों पर
भर्ती के लिए विज्ञापन निकाला है। मौजूदा व्यवस्था में इस भर्ती में लिखित
परीक्षा के बाद इंटरव्यू का प्रावधान है, लेकिन इस बार केवल लिखित परीक्षा
ही होगी। इंटरव्यू का प्रावधान खत्म कर दिया गया है।
उच्च शिक्षा विभाग के मुताबिक असिस्टेंट प्रोफेसरों की भर्ती में खाली
पदों के तीन गुना क्वालिफाइड उम्मीदवारों को इंटरव्यू के लिए बुलाया जाता
है। 3422 पदों के हिसाब से करीब दस हजार उम्मीदवार इंटरव्यू में शामिल
होंगे। इतने उम्मीदवारों का इंटरव्यू लेने के लिए ज्यादा बोर्ड बनाना
होंगे। उम्मीदवारों की तादाद ज्यादा होने से इंटरव्यू में सालभर लग सकता
है। ऐसा हुआ तो विद्यार्थियों को अगले साल शिक्षक मिलेंगे। इस बीच विधानसभा
चुनाव भी हैं। इसकी आचार संहिता अक्टूबर में लग सकती है, इसीलिए सरकार
चाहती है कि जुलाई-अगस्त में नियुक्ति प्रक्रिया पूरी कर शिक्षकों की जल्द
ज्वाइनिंग करा ली जाए।
यह भी है सरकार की सोच
असिस्टेंट प्रोफेसर भर्ती में पीएचडी और नेट क्वालिफाइड उम्मीदवार
बैठते हैं। अफसरों के मुताबिक यूजीसी ने भी इस पद के लिए योग्यता बढ़ा दी
है। इसलिए सरकार का मानना है कि इतने उच्च शिक्षित उम्मीदवारों को लिखित
परीक्षा के आधार पर परखा जा सकता है। इंटरव्यू जरूरी नहीं है। फैसले के
पीछे यह सोच भी देखी जा रही है।
रेग्युलर आवेदकों के लिए स्पर्धा बढ़ी
अतिथि विद्वानों को लिखित परीक्षा में ही 20 अंक का वेटेज देने से
रेग्युलर उम्मीदवारों के लिए स्पर्धा बढ़ गई है। यानी उन्हें अब ज्यादा
मेहनत करना होगी। लिखित परीक्षा में ओपन चैलेंज था। उन्हीं विद्वानों को 20
अंक मिलते, जो इंटरव्यू तक पहुंचते। मैरिट में 20 अंक जुड़ने से बाकी
उम्मीदवारों को लिखित परीक्षा में ही उन पर लीड लेना होगी।
पीएससीकी इस साल होने वाली भर्ती पर लागू होगा फैसला
चुनावआचार संहिता से पहले पद भरने की जल्दी में सरकार
मैरिट में ही जुड़ जाएंगे बीस अंक
असिस्टेंट प्रोफेसर भर्ती में 20 अंक का वेटेज लेने के लिए पहले
अतिथि विद्वानों को लिखित परीक्षा देना पड़ती। कट ऑफ क्लियर करना पड़ता। उसके
बाद इंटरव्यू में 20 अंक मिलते। कैबिनेट के फैसले के मुताबिक अब यह वेटेज
मैरिट सूची में ही जुड़कर आ आएगा। यानी किसी विद्वान ने परीक्षा में 450 अंक
हासिल किए हैं तो अब उसे मैरिट में ही 20 अंक दिए जाएंगे। इस तरह उसकी
रैंकिंग 470 अंकों की हो जाएगी।
आवेदन की अंतिम तारीख 30 अप्रैल
पीएससी ने सहायक प्राध्यापक के 2968 पदों के लिए 12 दिसंबर 2017को
विज्ञापन निकाला था। 1 जनवरी से आवेदन प्रक्रिया शुरू होना थी। 3 जनवरी तक
लिंक नहीं खुली। 15 जनवरी से प्रक्रिया शुरू हुई। तब आवेदन करने की अंतिम
तारीख 14 फरवरी थी। 9 फरवरी को इसे संशोधित कर 1 मार्च कर दिया गया। फिर 15
मार्च तक आवेदन लिए गए। उसी दिन परीक्षा स्थगित भी हो गई। 16 अप्रैल से
फिर लिंक खोल दी। इसके साथ पद भी बढ़ाकर 3422 कर दिए गए। अब अंतिम तारीख 30
अप्रैल कर दी है।
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