भास्कर संवाददाता | धार सरकारी स्कूलों में शिक्षकों के पद रिक्त होने से पढ़ाई प्रभावित हो रही
है। शासन ने अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति करने के आदेश भी जारी कर दिए हैं।
इसके लिए ऑनलाइन आवेदन की प्रक्रिया भी शुरू कर दी। लेकिन विसंगतियों के
कारण अतिथि शिक्षकों को परेशान होना पड़ रहा है।
अगर अभी भी विसंगतियों को
दूर नहीं किया गया तो सरकारी स्कूलों में विषय विशेषज्ञों के पद रिक्त ही
रह जाएंगे। ऐसे में विद्यार्थियों का नुकसान ही होना है।
संयुक्त अतिथि शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष लाखनसिंह चंदेल ने बताया अतिथि
शिक्षक की नियुक्ति के लिए शासन ने आवेदन ऑनलाइन करने की प्रक्रिया अपनाई
है। इसके तहत पहली बार तो लिंक नहीं खुली, जिस पर शासन ने अंतिम तारीख
बढ़ाकर 23 जुलाई की थी। लेकिन जब लिंक खुली तो इसमें भी कई विसंगतियां सामने
आईं। हाईस्कूल व हायर सेकंडरी स्कूल में अतिथि शिक्षकों को च्वाइस फिलिंग
का ऑप्शन ही नदारद कर दिया गया तो कई स्कूलों के नाम ही गायब थे। इस वजह से
अतिथि शिक्षक आवेदन ही नहीं कर पाए। अब शासन ने दूसरी बार फिर आवेदन की
तारीख बढ़ाकर 26 जुलाई की है।
80 विषय विशेषज्ञों के पद रह सकते हैं रिक्त
अतिथि शिक्षकों के मुताबिक अभी भी लिंक खुलने के बाद कई स्कूलों के नाम
नहीं आ पा रहे हैं। अगर जल्द शिक्षा विभाग सुधार नहीं करता है तो लगभग 80
विषय विशेषज्ञों के पद रिक्त रह सकते हैं। ऐसे में नुकसान विद्यार्थियों को
होगा।
10 साल सेवा देने के बाद भी समस्याओं का निराकरण नहीं
चंदेल ने बताया सरकार ने हमारे भविष्य के साथ खिलवाड़ किया है।
शासकीय स्कूलों में विगत 8-10 वर्षाें से अल्प वेतन पर सेवा देने के बाद भी
समस्याओं का निराकरण नहीं किया जा रहा। अगर सरकार को अतिथि शिक्षकों से
स्कूलों में सेवा लेना थी तो प्रक्रिया सरल करनी थी। कई शिक्षक स्कूलों की
च्वाईस फिलिंग नहीं कर पा रहे हैं। इसको लेकर 25 से 26 तक भोपाल के
शाहजहानी पार्क में आंदोलन कर नियमितिकरण और अन्य मांगों को लेकर प्रदर्शन
कर रहे हैं।